व्यक्ति विशेष: बिलासा बाई केंवटीन जयंती, जिनके नाम पर पूरा शहर बसा है
बिलासा केंवटिन… यह वह नाम है, जिसने बिलासपुर को पहचान दी और अपना नाम भी दिया। बिलासा केंवटिन और बिलासपुर का इतिहास 400 वर्ष पुराना है। बिलासा की धरा पर कभी अरपा कल-कल छल-छल करती हुई बहती है जिसके आंचल में बिलासपुर खूब फला फूला। बिलासा की इस नगरी को न्यायधानी के रूप में भी पहचान मिली। प्रदेश के साथ ही बिलासपुर में बिलासा एक देवी के रूप में देखी जाती है। उनके ही नाम पर बिलासपुर शहर का नामकरण हुआ।
आज उस वीरांगना की जयंती हैं, जिस वीरांगना ने लगभग 16-वी 17-वी शताब्दी में अन्य आक्रमणकारियों द्वारा जब रतनपुर के "आदिवासी गोंड राजा कल्याण साय" को मारने का षड्यंत्र रचा जा रहा था तब रतनपुर के अंतर्गत आने वाले शहर (वर्तमान-बिलासपुर) में एक मछुआरे परिवार से आने वाली वीरांगना बिलासा बाई केंवटीन द्वारा राजा को साहसपूर्वक यह सुचना दिया जाता है कि राजा साहब आपको खत्म करने के लिए एक षड्यंत्र रचा जा रहा ...